Me, mai, inme, uname, Bindu ya chandrabindu kyon nahin lagta hai | मे उनमे इनमे मै मे बिन्दु (अनुस्वार)) या चन्द्रबिन्दु (अनुनासिक) क्यों नहीं लगता है। मे, मै मे चन्द्रबिंदु या बिंदु लगेगा? Hindi mein chandrabindu kab lagana chahie kab nahin? Hindi spelling mistake किसी भी शब्द के पंचमाक्षर पर कोई भी बिन्दी अथवा चन्द्रबिन्दी (Hindi Chandra bindi kya hai) नहीं लगती है। इसका कारण क्या है आइए विस्तार से हम आपको बताएं। क्योंकि ये दोनो अनुनासिक और अनुस्वार उनमे निहित हैं। हिंदी भाषा वैज्ञानिक भाषा है। इसके विज्ञान शास्त्र को देखा जाए तो जो पंचमाक्षर होता है उसमें किसी भी तरह का चंद्रबिंदु और बिंदु नहीं लगता है क्योंकि उसमें पहले से ही उसकी ध्वनि होती है। पांचवा अक्षर वाले शब्द पर चंद्रबिंदु और बिंदु नहीं लगाया जाता है। जैसे उनमे, इनमे, मै, मे कुछ शब्द है जिनमें चंद्र बिंदु बिंदु के रूप में लगाया जाता है लेकिन म पंचमाक्षर है। Hindi main panchma Akshar kise kahate Hain? प फ ब भ म 'म' पंचमाक्षर pancman Akshar है यानी पांचवा अक्षर है। यहां अनुनासिक और अनुस्वार नहीं लगेगा। क्योंकि पं
रानी केतकी की कहानी या उदय भान चरित्र किसने लिखा था? Who is the writer of Rani Ketki ki kahani in Hindi prose Urdu ke Mahan kavi Insha Allah kha उर्दू के महान कवि इंशाअल्लाह खाँ रानी केतकी की कहानी जिसे उदय भान चरित्र भी कहा जाता है, लिखा था। आपको बता दें कि यहां हिंदी साहित्य कई पहली गद्य कहानी मानी जाती है। इनका जन्म 1756 में हुआ था। इंशा अल्लाह खाँ की कहानी उर्दू शब्दावली का प्रभाव मिलता है और कहानी कहने की किस्सागोई कला दिखाई देती है। जिसमें तुकबंदी का पुट है। The writer of Rani Ketki ki kahani name Inshallah kha The first line of the Rani Ketki ki kahani रानी केतकी की कहानी कि शुरुआती लाइन देखिए जिसमें आपको किस्सागोई शैली दिखाई देगा- यहां पर रानी केतकी की कहानी का अंत दिया हुआ है- यह वह कहानी है कि जिसमें हिंदी छुट। और न किसी बोली का मेल है न पुट॥ पंद्रह बरस भरके उसने सोलहवें में पाँव रक्खा था। कुछ यों ही सीमसें भीनती चली थीं। इंशा अल्लाह खान कौन थे? इंशा अल्ला खां उर्दू के महान कवि थे और उन्होंने हिंदी गद्य भाषा में पहली कहानी रानी केतकी की कहानी लिखी थी। रानी केतकी की क