Me, mai, inme, uname, Bindu ya chandrabindu kyon nahin lagta hai | मे उनमे इनमे मै मे बिन्दु (अनुस्वार)) या चन्द्रबिन्दु (अनुनासिक) क्यों नहीं लगता है। मे, मै मे चन्द्रबिंदु या बिंदु लगेगा? Hindi mein chandrabindu kab lagana chahie kab nahin? Hindi spelling mistake किसी भी शब्द के पंचमाक्षर पर कोई भी बिन्दी अथवा चन्द्रबिन्दी (Hindi Chandra bindi kya hai) नहीं लगती है। इसका कारण क्या है आइए विस्तार से हम आपको बताएं। क्योंकि ये दोनो अनुनासिक और अनुस्वार उनमे निहित हैं। हिंदी भाषा वैज्ञानिक भाषा है। इसके विज्ञान शास्त्र को देखा जाए तो जो पंचमाक्षर होता है उसमें किसी भी तरह का चंद्रबिंदु और बिंदु नहीं लगता है क्योंकि उसमें पहले से ही उसकी ध्वनि होती है। पांचवा अक्षर वाले शब्द पर चंद्रबिंदु और बिंदु नहीं लगाया जाता है। जैसे उनमे, इनमे, मै, मे कुछ शब्द है जिनमें चंद्र बिंदु बिंदु के रूप में लगाया जाता है लेकिन म पंचमाक्षर है। Hindi main panchma Akshar kise kahate Hain? प फ ब भ म 'म' पंचमाक्षर pancman Akshar है यानी पांचवा अक्षर है। यहां अनुनासिक और अनुस्वार नहीं लगेगा। क्योंकि पं
हिंदी में विज्ञान साहित्य के पहले लेखक Hindi first science literature writers कौन है? हिंदी विज्ञान साहित्य लेखक पंडित जगपति चतुर्वेदी, pandit jagpati chaturvedi न्यू इनोवेशन अवार्ड, ‘Innovation Award for School Children’ छात्र जीत सकेंगे 1 लाख का इनाम क्या आप हिंदी में विज्ञान साहित्य के पहले लेखक का नाम जानते हैं? क्या आप जानते हैं? दोस्तों हम बताने जा रहे हैं, हिंदी साहित्य के पहले ऐसे शख्स का नाम जिन्होंने हिंदी में विज्ञान साहित्य में रचना करने का श्रेय जाता है। हिंदी साहित्य को तकनीक ज्ञान और अन्वेषण की दुनिया से जोड़ दिया। दोस्तों उन्होंने 350 किताबें लिखी हैं। आज भले ही उन्हें लोग ने भुला दिया है लेकिन हम यह जानकारी आपके लिए खास तौर पर लाए हैं। पंडित जगपति चतुर्वेदी (Pandit Jagpati Chaturvedi ) जब तक जीवित थे, पूरे मनोयोग से हिंदी साहित्य के लिए समर्पित रहें। हिंदी साहित्य में विज्ञान लेखन (Hindi Sahitya Vigyan Lekhak) की विधा से उन्होंने अपनी लेखनी के माध्यम से युवाओं को आकर्षित किया। उस समय ज्ञान- विज्ञान अंग्रेजी में लिखा पढ़ा जाने का दौर रहा था, लेकिन अब तकनीक और